श्रीनगर-जम्मू कश्मीर,
इंडिया इनसाइड न्यूज़।
हार्वर्ड यूएस-इंडिया इनिशिएटिव (एचयूआईआई) वार्षिक सम्मेलन में महामहिम राज्यपाल मनोज सिन्हा ने मुख्य वक्तव्य रखते हुए कहा कि अपार ज्ञान और ऊर्जावान युवा एक नया भविष्य बनाने जा रहा है। उन्हें पारंपरिक ज्ञान या भीड़ का पालन करने की आवश्यकता नहीं है, उन्हें एहसास होना चाहिए कि वे कौन हैं और क्या चाहते हैं।
श्री सिन्हा ने कहा कि मुझे पूरा विश्वास है कि भारत, एक विशाल युवा और प्रतिभावान आबादी, अनुकूल पारिस्थितिकी तंत्र और जिस विश्वास के साथ हम निर्माण करने में कामयाब रहे हैं, हम वादों को पूरा कर सकते हैं। देश को वैश्विक उद्यमियों और कॉर्पोरेटों के लिए एक लोकप्रिय गंतव्य के रूप में उभरने दिया है।
उन्होंने कहा कि भारत एक नए विश्व व्यवस्था का आधार बनने के लिए तैयार है जो मानवीय, श्रमसाध्य, पारस्परिक रूप से लाभप्रद और सशक्त है। मानवता को जगाने की क्षमता रखने वाले युवा इस ग्रह पर सबसे अधिक जागरूक हैं। यह वह पुकार है जो संघर्षों और अन्य विघटनकारी गतिविधियों में खोए हुए युवाओं को मनाने के लिए युवाओं पर एक बाध्य कर्तव्य सौंपता है, जो दुनिया भर में युवा क्षमता के एक और असंगठित आयाम को चिह्नित करने के लिए मुख्यधारा में वापस आता है।
श्री सिन्हा ने कहा कि मेरा मानना है कि छात्र दिनों में हमारा विकास तीन सबसे महत्वपूर्ण चरणों से होकर गुजरता है- कार्रवाई, क्रांति और सुधार। मेरा लक्ष्य अगले पांच वर्षों के भीतर जम्मू-कश्मीर की 80 प्रतिशत युवा आबादी तक पहुंच बनाना और उन्हें रोजगार के अवसर प्रदान करना है और उनके लिए समग्र विकास का इंजन बनना संभव है।
उन्होंने कहा कि मैं जम्मू-कश्मीर के प्रत्येक बच्चे को एक परिपक्व, सफल और अच्छे इंसान के रूप में देखना चाहूंगा। प्रत्येक युवा की क्षमता का इस तरह दोहन हो कि हर कोई केन्द शासित प्रदेश की समृद्धि की दिशा में योगदान दे। और मिलकर हम इस लक्ष्य को हासिल करेंगे।